भारत इंफो : जालंधर की कोर्ट ने 14 वर्षीय नाबालिग लड़की के साथ दुष्कर्म करने के मामले में एक कड़ा संदेश देते हुए ऐतिहासिक फैसला सुनाया है। अदालत ने दोषी प्रिंस (26) को 20 साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। सजा के साथ-साथ कोर्ट ने दोषी पर 50 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है। अदालत ने अपने आदेश में स्पष्ट किया है कि यदि अपराधी जुर्माने की राशि का भुगतान नहीं करता है, तो उसे 6 महीने की अतिरिक्त जेल काटनी होगी।
इलाज के दौरान हुआ था खुलासा
घटना का खुलासा इस साल 26 फरवरी को हुआ था। पीड़िता की मां अपनी 14 साल की बेटी को सामान्य बुखार होने पर डॉक्टर के पास ले गई थी। जब डॉक्टर ने जांच की, तो सामने आया कि नाबालिग गर्भवती है। यह सुनकर परिजनों के होश उड़ गए। जब मां ने बच्ची को विश्वास में लेकर पूछताछ की, तो उसने बताया कि पड़ोस में रहने वाला प्रिंस उसे बहला-फुलाकर अपने साथ ले गया था और वहां उसके साथ गलत काम किया था।
मासूम को दी जान से मारने की धमकी
पुलिस जांच और पीड़िता के बयानों में यह चौंकाने वाली बात सामने आई कि आरोपी प्रिंस पहले से ही शादीशुदा है, इसके बावजूद उसने मासूम बच्ची के साथ घिनौनी हरकत की। वारदात के बाद आरोपी ने नाबालिग को डराया-धमकाया था कि यदि उसने किसी को कुछ भी बताया तो वह उसे जान से मार देगा। इसी डर के कारण बच्ची महीनों तक खामोश रही, लेकिन शारीरिक बदलावों ने आरोपी की काली करतूत को उजागर कर दिया।
पुलिस की जांच और अदालत का कड़ा रुख
थाना-5 की पुलिस ने पीड़िता की मां की शिकायत पर त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर लिया था। मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने समयबद्ध तरीके से जांच पूरी की और अदालत में ठोस सबूतों के साथ चार्जशीट पेश की। अदालत ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद माना कि आरोपी का कृत्य समाज के लिए एक बदनुमा दाग है। समाज में ऐसी घटनाओं को रोकने और अपराधियों में कानून का खौफ पैदा करने के लिए कोर्ट ने प्रिंस को कड़ी सजा सुनाई।