भारत इंफो, जालंधर : पंजाब में बाढ़ की तबाही ने राज्य के कई हिस्सों को प्रभावित किया है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक अब तक 48 लोगों की मौत हो चुकी है और लगभग 3.9 लाख लोग प्रभावित हुए हैं। बाढ़ से 2,050 गांवों में भारी नुकसान हुआ है। कृषि क्षेत्र भी बाढ़ से अछूता नहीं रहा; 1.76 लाख हेक्टेयर फसलें नष्ट हुई हैं और 2.52 लाख से अधिक पशु प्रभावित हुए हैं। राहत कार्यों के तहत 219 शिविरों में 5,400 से अधिक लोग शरण लिए हुए हैं।
सीएम ने किए मुआवजे के ऐलान
बाढ़ प्रभावितों की मदद के लिए मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने कहा कि मृतक परिवारों को 4-4 लाख रुपए की आर्थिक सहायता दी जाएगी। वहीं, फसलों के नुकसान की भरपाई 20,000 रुपए प्रति एकड़ के हिसाब से की जाएगी।
रेत निकालने पर मिली विशेष छूट
इसके साथ ही कैबिनेट ने यह भी मंजूरी दी है कि जिन किसानों के खेत बाढ़ से प्रभावित हुए हैं, वे अपनी रेत 15 नवंबर तक बिना परमिट के निकाल सकते हैं। यह फैसला कैबिनेट मीटिंग में लिया गया और इसका उद्देश्य बाढ़ पीड़ित किसानों को जल्द राहत पहुँचाना है।
प्रशासन और सरकार का प्रयास
राज्य सरकार और केंद्र मिलकर बाढ़ प्रभावित इलाकों में राहत कार्यों में जुटी हुई हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 9 सितंबर को पंजाब का दौरा करेंगे, और स्थानीय प्रशासन लोगों की सुरक्षा और राहत सुनिश्चित करने में लगातार सक्रिय है। इस बाढ़ को पंजाब के इतिहास की सबसे भीषण मानते हुए हर स्तर पर बचाव और पुनर्वास का काम तेज़ी से चल रहा है।